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आयुषभारत

मोरारजी देसाई राष्ट्रीय योग संस्थान में केन्द्रीय सशस्त्र पुलिस बल के 27वें बैच के जवानों के विदाई समारोह का आयोजन

रिपोर्ट:-शमीम 
मोरारजी देसाई राष्ट्रीय योग संस्थान (मो.दे.रा.यो.सं.) के सभागार में आज केन्द्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) का 27वें बैच के जवानों के विदाई समारोह कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें मुख्य अतिथि के रुप में पद्मश्री वैद्य राजेश कोटेचा, सचिव, आयुष मंत्रालय; विशिष्ट अतिथि के रुप में श्री मृतुन्जय कुमार नारायण, अतिरिक्त सचिव, गृह मंत्रालय ने शिरकत की।

इस अवसर पर वैद्य राजेश कोटेचा ने अपने सम्बोधन में बतया “योग भारत का विश्व विरादरी को एक उपहार है। हमारे माननीय प्रधानमंत्री के भागीरथी प्रयासों से आज योग विश्व के कोने- कोने तक पहुँच चुका है। सीएपीएफ जवानों के लिए योग की सलाह माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने ही दी थी। उनका मानना है कि योग दुर्गम्य परिस्थियों में अपने कर्त्तव्य का निर्वाहन में आपके लिए काफी सहायक होगा। उनके कुशल मार्गदर्शन में ही सीएपीएफ जवानों के लिए योग की रूप रेखा तैयार की गई। आज सीएपीएफ के जवानों की उत्साहजनक प्रतिक्रिया से महसूस होता है कि हमारा यह सामूहिक प्रयास सार्थक और सफल रहा। योगी अपने सभी कार्यो में उत्कृष्ट प्रदर्शन करता है, क्योंकि वह शिक्षा को आत्मसात करता है। योग आपके चेहरे पर एक ‘ओज’ लाता है। ओजस्वी भाव पूर्ण स्वास्थ का परिचायक है। योग आपकी इन्द्रियों के साथ-साथ आपकी आत्मा को भी परिमार्जित करता है”।

कार्यक्रम के दौरान, आयुष मंत्रालय के सचिव ने ‘सीएपीएफ, असम राइफल्स और एनएसजी के लिए योग’ पर विशेष योग प्रोटोकॉल पुस्तिका का हिंदी संस्करण भी जारी किया।

विशिष्ट अतिथि श्री मृतुन्जय कुमार नारायण, अतिरिक्त सचिव, गृह मंत्रालय ने सभा को सम्बोधित करते हए कहा “शास्त्रों में बताया गया है कि सबसे बड़ा सुख निरोगी काया है, उसके आगे सारे सुख गौण हैं। अगर आप अपने जीवन में योग अपना लेते हैं, तो आपके जीवन में अभूतपूर्व परिवर्तन होता है। योग हमारे चारों पुरुषार्थों में सहायक की भूमिका निभाता है। योग के साथ आपकी यात्रा अभी शुरू हुई है। आगे उन्होंने कहा कि सीएपीएफ के योग प्रशिक्षित जवानों से अपेक्षा है कि आप अपने सहकर्मियों व भाई- बंधुओं को भी योग की खूबियों से परिचित कराएँगे। सीएपीएफ के जवान जिन विषम परिस्थियों में अपने कर्त्तव्य का निर्वहन करते हैं, उसमे योग ‘रामवाण’ की भूमिका निभाएगा”। अतिरिक्त सचिव ने योग के प्रचार-प्रसार के लिए आयुष मंत्रालय और मो.दे.रा.यो.सं. के प्रयासों की भूरी- भूरी सराहना की।

समारोह के दौरान संबंधित पाठ्यक्रमों के जवानों ने भी अपने अनुभव साझा किए और बताया कि योग को अपनाने के बाद उनके जीवन की दशा और दिशा में बहुत अधिक बदलाव आए हैं। योग को अपना कर उनका व्यक्तित्व बदल गया और साथ ही साथ बहुत सारी बीमारियों से भी निजात मिली है।

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