गांधी जयन्ती समारोह ट्रस्ट का प्रतिनिधि मंडल ट्रस्ट के अध्यक्ष व गांधीवादी चिन्तक राजनाथ शर्मा के नेतृत्व में मिला।

रिपोर्ट :- शिवा वर्मा (संपादक)
बाराबंकी। महात्मा गांधी के पुत्र देवदास गांधी की बेटी श्रीमती तारा गांधी भट्टाचार्य से रविवार को दिल्ली स्थित उनके आवास पर गांधी जयन्ती समारोह ट्रस्ट का प्रतिनिधि मंडल ट्रस्ट के अध्यक्ष एवं गांधीवादी चिन्तक राजनाथ शर्मा के नेतृत्व में मिला। इस शिष्टाचार मुलाकात में ट्रस्ट के न्यासी एवं सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता एस.एस नेहरा, गांधी शान्ति प्रतिष्ठान के पूर्व सदस्य महेश चन्द्र शर्मा, समाजसेवी रंजय शर्मा आदि लोगों के साथ राजनाथ शर्मा ने श्रीमती तारा गांधी भट्टाचार्य को ट्रस्ट की वार्षिक स्मारिका भेंट की। इस दौरान राजनाथ शर्मा ने 90 वर्षीय महात्मा गांधी की पोती तारा गांधी भट्टाचार्य के स्वास्थ्य का कुशल क्षेम पूछा और आने वाले समय में उनके बेहतर स्वास्थ्य की कामना भी की। बताते चलें कि तारा गांधी पिछले 35 सालों से कस्तूरबा गांधी राष्ट्रीय मेमोरियल ट्रस्ट के लिए काम कर रही हैं।
इस ट्रस्ट की स्थापना महात्मा गांधी ने अपनी पत्नी कस्तूरबा गांधी की याद में ग्रामीण भारत की जरूरतमंद महिलाओं और बच्चों की सेवा करने के लिए की थी। बातचीत के दौरान तारा गांधी ने बाराबंकी से जुड़े कई संस्मरण सुनाए। उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी के शहादत की 75वीं वर्षगांठ पर बाराबंकी में आयोजित होने वाले कार्यक्रम में गांधी भवन जरूर आना चाहूंगी। उन्होंने बताया कि गांधी जी के साथ मेरा 14 साल का अनुभव है। उनके सानिध्य में रहकर मैंने काफी कुछ सीखा है। बापू की निडरता को सीखने की जरूरत है। उनकी निर्भीकता अलग थी। उनकी निर्भीकता प्यार और करूणा से बनी थी। मुझे याद है कि उनके कक्ष, उनके दरवाजे हमेशा खुले रहते थे। शायद ही किसी को उनसे मिलने के लिए वक्त लेना पड़ता था। इस मौके पर गांधीवादी राजनाथ शर्मा ने तारा गांधी भट्टाचार्य से मिलकर गांधी ट्रस्ट की गतिविधियों को साझा किया और बाराबंकी आने का न्योता भी दिया।